पियास मजीद की कुछ कविताएँ ::
बांग्ला से अनुवाद : अजीत दाश
ऑफ़ टॉपिक
फूलों के अनुक्रम
धकेलने के बाद
मैं गंदा हो जाता हूँ
और नीचे गिर जाता हूँ
शहर की सड़क पर।
कोई खोजना नहीं चाहता
मेरे लावारिस हृदय की लाश
यहाँ तक अंजुमन मुफ़िदुल इस्लाम1एक बांग्लादेशी कल्याणकारी संगठन, जिसे विशेष रूप से अनाथों और संकटग्रस्त लोगों की आजीविका को समृद्ध करने के लिए स्थापित किया गया है। की
एक एम्बुलेंस भी।
परिस्थिति
मौत और मौत की अफ़वाहों में
अब क्या फ़र्क़ है
अब भी ज़िंदा हूँ,
क्या यह ज़िंदा होने की अफ़वाह है?
भाषा
जिस रास्ते से
मैं तुम्हारे पास आता हूँ
उसका दुश्मन
मेरे काँपते हुए शब्दों की भाषा है
प्रेम एक मायावी वर्णाक्षर है।
अमावस
भीड़ भरे सितारों का प्रतिबिंब
बारिश की तरह गिर गया
खिड़की से मुख्य द्वार तक
फिर भी मैं अँधेरे की अनंत धुन हूँ।
सूरज के पीछे एक क्रूर
व्यापारी की तरह
चाँदनी रात में जगने की क़ीमत पर
मैंने सोने की सारी ताक़त ख़रीद ली है।
परफ़्यूम
जीवन एक घातक
संदर्भ है
मैं उसके दर्दनाक
पृष्ठ का एक पाठक हूँ।
बहुत केंद्रीकृत भावनाओं में बैठकर
धूसर हो जाते हैं
परमार्थ के सब प्रभाव।
मौत एक संगीत है
पिता ने मुझे पाताल से
उठाकर दुनिया दिखाई।
उन्हीं पिता को आज
पाताल में रखते हुए
व्याकरणहीन मैं सोचता हूँ
सब कुछ शुद्ध और सफ़ेद
हो जाता है
समाधियों के काले अक्षरों में।
इस धरती में जब
सितारों का आँगन ख़ाली हो जाता है
तब बेटे के दिल में
गुज़रते हुए पिता की चिता
जलती रहती है
और यह कठिन समय
मुझसे कहता है :
मौत एक संगीत है
हर ताबूत में
कोई न कोई धुन
चिपकी रहती है।
पियास मजीद (जन्म : 1984) समकालीन बांग्ला कविता के नामवर नए कवियों में से एक हैं। कविता के साथ-साथ वह गद्य में भी माहिर हैं। उन्होंने अपनी कविता पर कोलकाता और बांग्लादेश से कई पुरस्कार प्राप्त किए हैं। वह जहाँगीरनगर विश्वविद्यालय से स्नातक और स्नातकोत्तर के बाद बांग्ला अकादेमी में कार्यरत हैं। अजीत दाश से परिचय के लिए यहाँ देखें : मैं अमरता नहीं चाहता हूँ
कमाल की कविताएँँ हैं। कवि, अनुवादक, सदानीरा सभी का शुक्रिया!
बहुत अच्छी कविताएं
अच्छी कवितााएँ हैं।