जून जॉर्डन की एक कविता :: अनुवाद और प्रस्तुति : अनुराधा सिंह
Posts tagged विश्व कविता
रहने दो मेरी कविता को खिड़की के कांच जैसा साफ
अन्ना कामीएन्सका की कविताएं :: अनुवाद और प्रस्तुति : उपासना झा
क़मीज़
कवितावार में जेन केन्योन की कविता :: अनुवाद : आग्नेय
हिंदी के मरणप्रिय संसार में मची लावा-पैसा-लूट के बाद
निकानोर पार्रा पर कुछ नोट्स और उनकी तीन कविताएं :: उदय शंकर
एक पत्थर किसी का नहीं होता
रसेल एडसन की कविताएं :: अनुवाद : प्रचण्ड प्रवीर
मैं पानी और आग नहीं बनना चाहती
पोलिना बर्स्कोवा की दो कविताएं :: अनुवाद और प्रस्तुति : विपिन चौधरी